धरती अम्बर से कहे ,सुना प्रेम के गीत
अम्बर धरती से कहे, दिवस गए वो बीत
दिवस गए वो बीत ,मुझे कुछ दे न दिखाई
कोलाहल के बीच,तुझे देगा न सुनाई
जन करनी के दंड, अभागिन प्रकृति भरती
किस विध मिलना होय ,तरसते अम्बर धरती
लेकर तिनका चौंच में ,चिड़िया तू कित जाय
नीड महल का छोड़ के , घर किस देश बसाय
घर किस देश बसाय ,सभी सुख साधन छोड़े
ऊँची चढ़ती बेल , धरा पे वापस मोड़े
देख बिगड़ते बाल, माथ मेरा है ठनका
जाती अपने गाँव , चौंच में लेकर तिनका
पानी है संजीवनी ,मत करना बरबाद
बूँद बूँद है कीमती ,इतना रखना याद
इतना रखना याद ,करते रहोगे दोहन
नदियाँ जायँ सूख, बचे कैसे संसाधन
नीर पादुका रोय ,देख तेरी मनमानी
धरा गर्भ को भेद , कहाँ से आये पानी
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सुन्दर कुंडलियो संग सुंदर काम की बातें !
जवाब देंहटाएंशुभकामनायें!
अर्थ पूर्ण दोहे और कुंडली .
जवाब देंहटाएंराजेश कुमारी जी, आपकी कुण्डलियाँ बहुत सुंदर लगीं.
जवाब देंहटाएंबहुत सुंदर भावमय उत्कृष्ट कुण्डलियाँ ,,,,
जवाब देंहटाएंrecent post : प्यार न भूले,,,
वाह ... बेहतरीन भावों का संगम ...
जवाब देंहटाएंआभार इस उत्कृष्ट अभिव्यक्ति के लिये
क्या बात है राजेश जी..
जवाब देंहटाएंसभी कुण्डलियाँ लाजवाब है,..
बहुत बढ़ियाँ...
:-)
बहुत ही बढ़िया कविता है.... खास-कर अंतिम की जो लाइनें लिखी गयी है... पानी के बारे में आने वाले भविष्य की समस्या का वर्णन किया गया है...
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर कविता लिखी है.....
मेरी नयी पोस्ट दान का हिसाब को भी जरूर पढ़े
बहुत ही सुन्दर शब्दों में व्यक्त की प्रकृति की पीर..
जवाब देंहटाएंबेहद खूबसूरती के साथ रचे दोहे और कुण्डलियाँ वाह क्या कहना आपका जवाब नहीं।
जवाब देंहटाएंसादर अरुन शर्मा
www.arunsblog.in
सुन्दर दोहे.
जवाब देंहटाएंसुन्दर सुसज्जित पोस्ट .
rajeshkumari ji bahut sundar kundaliyaan , badhai sundar bhavo ke liye :)
हटाएंबहुत सुन्दर प्रस्तुति!
जवाब देंहटाएंआपको सूचित करते हुए हर्ष हो रहा है कि-
आपकी इस प्रविष्टी की चर्चा कल रविवार (25-11-2012) के चर्चा मंच-1060 (क्या ब्लॉगिंग को सीरियसली लेना चाहिए) पर भी होगी!
सूचनार्थ...!
बहुत सुंदर और सार्थक प्रस्तुति...
जवाब देंहटाएंबहुत अच्छा और सार्थक सन्देश देती हुई चित्रमय कुंडलियाँ .
जवाब देंहटाएंबहुत सुंदर ..अच्छा लगा आपको पढ़ना ...
जवाब देंहटाएंसुंदर-सरस-सुहावनी
जवाब देंहटाएंसदय सदृश संजीवनी।
बेहद सुंदर चित्रमय कुडलियाँ ।
जवाब देंहटाएंपहली वाली तो बहुत ही मारमिक और शानदार । धरती अंबर का भावभीना संवाद .
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